टाटा मोटर्स तमिलनाडु में लगाएगी नया प्लांट: 9,000 करोड़ रुपये करेगी निवेश, 5,000 लोगों को मिलेगी नौकरी!
संशोधित: मार्च 14, 2024 04:54 pm | सोनू
- 368 Views
- Write a कमेंट
अभी इस बात की पुष्टि नहीं हुई है कि इस प्लांट में पैसेंजर गाड़ियां तैयार होंगी या कमर्शियल व्हीकल
टाटा मोटर्स भारत की सबसे बड़ी कार निर्माता कंपनियों में से एक है और पैसेंजर गाड़ियों की सेल्स के मामले में भी यह टॉप कंपनियों में शामिल है। वर्तमान में भारत में कंपनी के 7 मैन्युफैक्चरिंग प्लांट है जहां पर पैसेंजर व्हीकल्स का प्रोडक्शन होता है। अब टाटा ने तमिलनाडु में अपना नया प्लांट लगाने के लिए राज्य सरकार के साथ एक एमओयू साइन किया है।
नए प्लांट के बारे में
टाटा के नए प्लांट की लोकेशन और साइज की जानकारी अभी सामने नहीं आई है। टाटा की इस नए मैन्युफैक्चरिंग प्लांट में अगले पांच साल में 9,000 करोड़ रुपये निवेश करने की योजना है। टाटा के अनुसार यह नया प्लांट से प्रत्यक्ष और अप्रत्यक्ष रूप से राज्य में करीब 5000 नई नौकरियां पैदा करेगा।
यह एमओयू तमिलनाडु के मुख्यमंत्री थिरू. एम.के. स्टालिन की मौजूदगी में आईएएस वी. विष्णु और टाटा मोटर्स ग्रुप सीएफओ पीबी बालाजी के बीच साइन किए गए।
यह भी पढ़ें: टाटा कर्व का करें इंतजार या फिर चुने कोई दूसरी एसयूवी कार, जानिए यहां
टाटा ने अभी तक यह स्पष्ट नहीं किया है कि इस नए प्लांट में पैसेंजर व्हीकल तैयार होंगे या फिर कमर्शियल व्हीकल। हमें उम्मीद है कि ये जानकारी सही वक्त आने पर सामने आएगी।
टाटा के लिए बेनेफिट
वर्तमान में टाटा भारत की टॉप 3 कार मैन्युफैक्चरिंग कंपनी है और दूसरी पोजिशन के लिए हुंडई के साथ इसकी कड़ी टक्कर चल रही है। सानंद प्लांट के साथ टाटा की सालाना प्रोडक्शन कैपेसिटी 10 लाख यूनिट पहले ही पार हो चुकी है। हालांकि नए प्लांट में अगर पैसेंजर गाड़ियां तैयार होती है तो प्रोडक्शन कैपेसिटी और बढ़ जाएगी। प्रोडक्शन कैपेसिटी बढ़ने से ना केवल टाटा की कारों का वेटिंग पीरियड कम होगा, बल्कि इससे कंपनी को मार्केट में ज्यादा हिस्सेदारी हासिल करने और हुंडई से आगे निकलने में भी मदद मिलेगी।