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बीएस6 नॉर्म्स लागू होने पर रेनो डस्टर, कैप्चर और लॉजी में मिल सकते हैं नए पेट्रोल इंजन

संशोधित: सितंबर 13, 2019 12:45 pm | nikhil | रेनॉल्ट डस्टर

साल की शुरुआत में रेनो इंडिया ने अप्रैल 2020 से बीएस6 नॉर्म्स लागू होने के बाद अपनी कारों के डीजल मॉडल्स को बंद करने की बात कही थी। पेट्रोल-पॉवर्ड क्विड और ट्राइबर को छोड़कर रेनो की अन्य सभी कारें डीजल और पेट्रोल दोनों इंजन के साथ उपलब्ध है। ऐसे में उम्मीद है कि बीएस6 मानदंड लागू होने के बाद कंपनी डस्टर, कैप्चर और लॉजी में नए पेट्रोल इंजन की पेशकश करेगी। वर्तमान में इन तीनो कारों में डीजल यूनिट के तौर पर 1.5लीटर, 4-सिलेंडर इंजन मिलता है। यह इंजन दो पावर ट्यूनिंग में उपलब्ध है। इनमें 85पीएस/200एनएम और 110एनएम/245एनएम शामिल हैं।

(फोटो: 1.0-लीटर टीसीई इंजन)

रेनो पिछले एक साल से यूरोप और अन्य कई देशों में 1.0-लीटर टीसीई और 1.3-लीटर टीसीई टर्बोचार्ज्ड पेट्रोल इंजन का उपयोग कर रही है। यह 1.0-लीटर, 3-सिलेंडर इंजन 100पीएस की पावर और 160 एनएम का टॉर्क जनरेट करता है। यह 5-स्पीड मैनुअल और सीवीटी ऑटोमैटिक दोनों गियरबॉक्स के साथ उपलब्ध है। कंपनी ने इस इंजन को यूरोप में बिकने वाली डस्टर के 1.5-लीटर नैचुरली एस्पिरेटेड पेट्रोल इंजन की जगह उतारा था। वहीं, निसान माइक्रा के पांचवे जनरेशन मॉडल भी यही इंजन मिलता है।

(फोटो: 1.3-लीटर टीसीई)

इसके अलावा, ज्यादा पावरफुल 1.3-लीटर टीसीई टर्बो-पेट्रोल इंजन को रेनो की पार्टनर कंपनियों (रेनो-निसान-मित्सुबिशी) ने डेमलर (मर्सिडीज-बेंज के मालिक) के साथ मिलकर तैयार किया था। यह इंजन डस्टर, कैप्चर, मर्सिडीज-बेंज ए-क्लास और रेनो की अन्य पार्टनर्स कंपनियों की कारों में उपलब्ध है। यह इंजन विभिन्न पावर आउटपुट रेंज में उपलब्ध है। इनमें 115पीएस, 130पीएस, 140पीएस और 160पीएस शामिल हैं। इसका अधिकतम टॉर्क 270एनएम है।

आईये जानें यूरोप में मिलने वाला रेनो का यह इंजन भारत में उपलब्ध कारों के इंजन से कितना बेहतर है:-

मॉडल

रेनो कैप्चर 1.3-लीटर

रेनो डस्टर 1.3-लीटर

रेनो डस्टर 1.0-लीटर

रेनो 1.5-लीटर के9के डीजल इंजन (इंडियन वर्ज़न)

रेनो 1.5-लीटर एच4के नैचुरली एस्पिरेटेड पेट्रोल (इंडियन वर्ज़न)

पावर

130पीएस/150पीएस

130पीएस/150पीएस

100पीएस

85पीएस/110एनएम

106पीएस

टॉर्क

220एनएम/250एनएम

240एनएम/250एनएम

160एनएम

200एनएम/245एनएम

142एनएम

डस्टर का यूरोपियन वर्ज़न ड्यूल-क्लच ट्रांसमिशन के साथ उपलब्ध है। इसमें ऑल-व्हील-ड्राइवर (एडब्ल्यूडी) का विकल्प भी मिलता है। रेनो यही सेटअप भारत में भी पेश कर सकती है। हमें उम्मीद है कि रेनो का यह 1.0-लीटर टीसीई इंजन भारत में 1.5-लीटर पेट्रोल इंजन की जगह लेगा। वहीं, 1.3-लीटर पेट्रोल इंजन को 1.5-लीटर डीजल इंजन की जगह उतारा जाएगा। बता दें रेनो के यह दोनों इंजन 'यूरो 6डी-टेम्प' उत्सर्जन मानकों का पालन करते हैं जो बीएस6 मानकों से भी कड़े हैं।

रेनो इन नए इंजन की भारत में शुरुआत 2020 में लॉन्च होने वाली सेकंड-जनरेशन डस्टर के साथ कर सकती है। संभावना है कि कंपनी नई डस्टर की परफॉरमेंस और माइलेज में वृद्धि करने करने के लिए इसमें माइल्ड-हाइब्रिड सिस्टम की भी पेशकश कर सकती है। हालांकि, कंपनी ने अब तक इस बारे में कोई आधिकारिक जानकारी साझा नहीं की है। रेनो आने वाले समय में एक सब-4 मीटर एसयूवी भी लॉन्च करेगी जिसका भारतीय बाजार में मुकाबला हुंडई वेन्यू, महिंद्रा एक्सयूवी300, फोर्ड ईकोस्पोर्ट, मारुति विटारा ब्रेज़ा और टाटा नेक्सन से होगा। कंपनी अपनी इस नई कार को 2020-ऑटो एक्सपो में पेश करेगी।

साथ ही पढ़ें: चीन में लॉन्च हुई इलेक्ट्रिक रेनो क्विड, भारत आने वाली क्विड फेसलिफ्ट जैसा है इसका डिजाइन

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nikhil

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