15 साल पुरानी कारों का रजिस्ट्रेशन रिन्यू कराना हुआ महंगा
- 15 साल पुरानी कारों का रजिस्ट्रेशन रिन्यू कराने के लिए 5,000 रुपये लगेंगे।
- नई कारों की रजिस्ट्रेशन फीस 600 रुपये है।
- इंपोर्टेड कारों की रजिस्ट्रेशन फीस 5,000 रुपये और उसे रिन्यू कराने की फीस 40,000 रुपये है।
- अगर कार फिटनेस टेस्ट में पास हो जाती है तो फिर आरसी रिन्यू फीस भी देनी होगी।
सड़क परिवहन एवं राजमर्ग मंत्रालय ने 15 साल पुरानी कारों के रजिस्ट्रेशन रिन्यू कराने की प्राइस बढ़ा दी है। इससे अब 15 साल से ज्यादा पुरानी कारों को रखना महंगा हो जाएगा। नई स्क्रैपेज पॉलिसी के तहत अगर 15 साल से ज्यादा पुरानी प्राइवेट कारें फिटनेस टेस्ट में पास नहीं होती है तो उन्हें स्क्रैप किया जाएगा।
जहां नई कारों के रजिस्ट्रेशन के लिए 600 रुपये लगते हैं वहीं 15 साल पुरानी कार का रजिस्ट्रेशन रिन्यू कराने के लिए अब आपको 5,000 रुपये देने पड़ेंगे। पहले यह रिन्यूअल प्राइस 1500 रुपये थी। इसी प्रकार इंपोर्ट की गई नई गाडियों की रजिस्ट्रेशन प्राइस 5,000 रुपये है और इसे रिन्यू कराने के लिए 40,000 रुपये लगेंगे। अगर आपकी गाड़ी फिटनेस टेस्ट में पास हो जाती है तो इसके बाद आरसी रिन्यूअल फीस भी देनी होगी।
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अगर आप अपनी पुरानी कार को स्क्रैप कराकर नई गाड़ी लेंगे तो आपको रजिस्ट्रेशन फीस नहीं देनी होगी। इसके अलावा रोड टेक्स में भी 25 फीसदी छूट दी जाएगी और कंपनियां भी अपनी तरफ से आपको अतिरिक्त 5 प्रतिशत की छूट देगी।
सरकार देशभर में ऑटोमेटेड फिटनेस और स्क्रैपेज सेंटर स्थापित कर रही है। वर्तमान में महिंद्रा और रेनो अपने डीलरशिप पर व्हीकल स्क्रैपेज, एक्सचेंज और वैल्यूएशन सर्विस दे रही है।
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This is clearly a new type of scam. The agents at the facility and officers will get a little more something than the actual renewal fee and get the car passed.
Every policy of Govt if analysed properly have innumerable loop holes which business tycoons reap benefits leaving honest tax payers at mercy of God .